लीजिए एक और नमूना।
क्या आप अभी भी फ़ोल्डर को
आगे क्या? गला सूख गया? लगता है इसके लिए भी चुनाव रखना पड़ेगा।
क्या आप अभी भी अपने फ़ोल्डर को
o खाना चाहते हैं?
o लपेटना चाहते हैं?
o तह करना चाहते हैं?
o पीना चाहते हैं?
अरे भाई पूरा सवाल तो पूछो, इतना रोकड़ा काहे वसूले हो?
क्षेत्रीयकरण स्थानीयकरण (localisation) में बहुत सी ऐसी त्रुटियाँ दिखाई देती हैं। धीरे-धीरे ठीक होंगी। लिनक्स के विभिन्न फ्लेवर जो कुछ स्वयंसेवियों के द्वारा हिन्दी में अनुदित किए गए हैं, उनमें भी ऐसी अनेकानेक त्रुटियाँ हैं।
यदि से मुक्तस्रोत हैं, तो अच्छा होगा कि हम टिप्पणियाँ करने की वजाए उन्हें सुधारने का प्रयास करके अपना भी योगदान दें।
समझने में असमर्थ हूँ, हँसु या सर पीटु.
जवाब देंहटाएंहा! दुर्भाग्य हिन्दी भाषा का! कहाँ हम इसकी सहजता की तारीफों के पुल बांधा करते थे, एक डायलौग बौक्स ने शर्मसार कर दिया | दुःख!
जवाब देंहटाएंकहां हम सरकारी भाषा को कोसते थे। ये ससुरी साफ्टवेयरों की भाषा तो और जुलम है!
जवाब देंहटाएंहाँ
जवाब देंहटाएंक्षेत्रीयकरण स्थानीयकरण (localisation) में बहुत सी ऐसी त्रुटियाँ दिखाई देती हैं। धीरे-धीरे ठीक होंगी। लिनक्स के विभिन्न फ्लेवर जो कुछ स्वयंसेवियों के द्वारा हिन्दी में अनुदित किए गए हैं, उनमें भी ऐसी अनेकानेक त्रुटियाँ हैं।
जवाब देंहटाएंयदि से मुक्तस्रोत हैं, तो अच्छा होगा कि हम टिप्पणियाँ करने की वजाए उन्हें सुधारने का प्रयास करके अपना भी योगदान दें।
यदि से मुक्तस्रोत हैं, तो अच्छा होगा कि हम टिप्पणियाँ करने की वजाए उन्हें सुधारने का प्रयास करके अपना भी योगदान दें।
जवाब देंहटाएंबिल्कुल सही। दिक्कत तभी आती है जब मुक्त स्रोत न हो और कोई सुनने वाला न हो, जैसे कि यहाँ।