29.11.05
खोजा वारिस, मिली झाँसी की रानी
वारिस की खोज करते हुए मिल गईं झाँसी की रानी।
बड़े दिनों बाद मिली। याद है मुझे, मैंने पूरी कविता घोटी थी। काफ़ी लम्बी चौड़ी है। बाद में पता चला कि यह कविता और जगह भी है।
लेकिन ओल्ड पोएट्री में केवल हिन्दी की कविताएँ खोजने की सुविधा या वर्गीकरण नहीं मिला।
पहली बार जब झाँसी गया था - लखनऊ से मद्रास जाना था, तो झाँसी से गाड़ी बदली थी। तो झाँसी में कुछ छः घण्टे का समय था। सोचा था कि किला देखूँगा, लेकिन घुस गया थियेटर में, और देख डाली बॉम्बे। किला अब तक नहीं देखा है, दस साल हो गए।
8 टिप्पणियां:
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हम भी अब तक झांसी का किला नही देख सके। एक बार सोचा था, कि साउथ जाने वाली गाड़ी झांसी से पकड़नी थी, ६ घन्टे का गैप था, लेकिन नही साथी लोग राजी नही हुए, बोले बहुत धूप है, वहाँ के स्थानीय लोगों ने भी कहाँ, क्या देखोगे, सारा तो खंडहर हो चुका है। ये तो लोगो का मानना है इस किले के बारे में।
जवाब देंहटाएंहाँ, मुझे याद पड़ता है, मुझे भी वहीं को लोगों ने कहा था कि वहाँ जाना बेकार है।
जवाब देंहटाएंहै कोई झाँसी वाला अपनी सफ़ाई पेश करने के लिए?
main dekh ke aaya tha aur ji haan khandhar sa hai per usme ek historic charm hai. Uski unchai per setting aur structure batata hai ki bhadiya hoga. Matlab Rekha type nahi to mano Kbhu type situation hai. Khandhar bata raha hai ki imarat kabhi buland thi.
जवाब देंहटाएंआप मैक का उपयोग करतें हैं कि विनडोज का? यदी मैक, तो आप आधे अक्षर कैसे बनाते हैं?
जवाब देंहटाएंमॅक पर आधे अक्षर के लिए - इंस्क्रिप्ट कुञ्जीपटल हो तो D की मदद से हलन्त लगाएँ, अर्धाक्षर बनेंगे।
जवाब देंहटाएंcool site :)
जवाब देंहटाएंआलोक जी, "off topic" लिखनॆ कॆ लियॆ माफी चाहती हूं। समस्या यह है कि "unicode" दॆवनागिरी मॆं "phonetic keyboard layout for linux (fedora core 4) " मुझॆ कहीं मिला नहीं। अगर आपको इसकी जानकारी हो तो कृपया मुझॆ सूचित करॆं।
जवाब देंहटाएंस्वाति सानी (swati@sanisoft.com)
स्वाति जी,
जवाब देंहटाएंशायद आपको Bolnagari Phonetic Keymap पसन्द आए।
http://www.indlinux.org/wiki/index.php/Downloads
ध्यान दें - मैंने इसे आजमाया नहीं है। मैं इंस्क्रिप्ट का इस्तेमाल करता हूँ, इसलिए कभी ज़रूरत नहीं पढ़ी। http://www.devanaagarii.net/inscript/ - ये फ़ेडोरा में पहले सी ही मौजूद है।
आलोक